Mankameshwar Temple Ranikhet Almora Uttarakhand
इस मंदिर में विराजमान हैं जगत जननी माँ काली के साथ भगवान भोलेनाथ व राधा – कृष्ण ।


Mankameshwar Temple Ranikhet Almora Uttarakhand : उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के रानीखेत शहर में नरसिंह मैदान के पास स्थित है मनकामेश्वर महादेव मंदिर। इस मंदिर का निर्माण 1978 में भारतीय सेना की कुमाऊँ रेजीमेंट के द्वारा किया गया था । यह मन्दिर सेना छावनी क्षेत्र के अंतर्गत आता है । इस मंदिर में जगत जननी माँ काली , भगवान भोलेनाथ व राधा – कृष्ण विराजमान हैं। मंदिर परिसर का वातावरण बेहद ही शांत व सुरम्य है जो श्रद्धालुओं के मन को सकून से भर देता है। मंदिर में बजने वाली घंटियाँ की मधुर आवाज , आसपास का प्राकृतिक सौंदर्य व चिड़ियों का मधुर कलरव इस जगह को और भी आकर्षक बनाता है । हर साल यहां कृष्णजन्माष्टमी के दिन कुमाऊँ रेजीमेंट के जवानों के द्वारा सुंदर – सुंदर झांकियाँ दिखाई जाती हैं और साथ में भंडारे का आयोजन भी किया जाता है। सावन (जुलाई) के महीने में बड़ी संख्या में श्रद्धालु यहाँ भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक करने पहुंचते है। उस समय भी यहाँ एक मेले का आयोजन किया जाता है जिसमें दूर -दूर से लोग पहुँचते हैं।
मंदिर परिसर में ही स्थित है गुरुद्वारा।
मन्दिर परिसर में एक पवित्र गुरुद्वारा भी है जहाँ संगीतमय भजन चलते रहते हैं। इसके अलावा यहाँ एक शाँल फैक्ट्री भी है जहां आप हस्तनिर्मित शाँल व ऊनी स्कार्फ बनते हुए आराम से देख सकते हैं। यहां के कुशल कारीगर बहुत ही कमाल के डिजाइन उन शालों में उकेर देते हैं । आप इन खूबसूरत शालों को खरीद कर अपने साथ ले जा भी सकते हैं। इस मंदिर के समीप ही रानी झील भी स्थित है जहाँ आप नौकायन का मजा ले सकते हैं। वैसे तो पूरा छावनी क्षेत्र देखने लायक है मगर मनकामेश्वर मंदिर के आस – पास का प्राकृतिक सौंदर्य अपने -आप में बेहद अद्भुत है।
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क्या करें ?
मनकामेश्वर मंदिर सेना छावनी क्षेत्र के अंतर्गत आता है। इसीलिए यहां पर बहुत ही शांत वातावरण है जो लोगों को आध्यात्म की तरफ आकर्षित करता है और श्रद्धालुओं को असीम शांति प्रदान करता है। छावनी क्षेत्र के आस – पास घने जंगल हैं। इसीलिए यहाँ ठंडी ताज़ी हवा चलती रहती है। ठंडी हवा का मजा लीजिए। फोटोग्राफी कीजिए। जंगल के आसपास के क्षेत्रों में ट्रेकिंग कीजिए। रानी झील में नौका विहार का आनंद लीजिए। इसके अलावा भी अल्मोड़ा शहर के आस -पास कई धूमने लायक सुंदर जगहें है जैसे बिनसर वन्य जीव अभयारण्य , डोल आश्रम , कटारमल सूर्य मंदिर , कसारदेवी मंदिर , सिमटोला इको पार्क , जागेश्वर धाम , नंदा देवी मंदिर , चितई गोलू देवता मंदिर आदि जहाँ आप जा सकते हैं।
मनकामेश्वर मंदिर आने का सही समय (Best Time To Visit In Mankameshwar Temple)
मनकामेश्वर मंदिर आने का सही समय फरवरी से लेकर जून तक और अक्टूबर से लेकर दिसंबर तक है । गर्मियों में यहाँ का मौसम बेहद सुहाना रहता है मगर जाड़ों में यहाँ बर्फ गिरती है। वैसे आप इस मंदिर में कभी भी आ सकते हैं क्योंकि यह रानीखेत शहर में ही है। अगर आप अल्मोड़ा / रानीखेत में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book कर लीजिए।
ध्यान रखने योग्य बातें।
मनकामेश्वर मंदिर का इलाका छावनी क्षेत्र के अंतर्गत आता है। इसीलिए मंदिर प्रशाशन के द्वारा बनाये गये नियमों का पालन कीजिए। कोई भी कार्य करने से पहले अनुमति लेना अनिवार्य है। मंदिर में मंदिर की मर्यादा का ध्यान रखें। ट्रैकिंग के शौक़ीन अपने साथ एक अच्छी क्वालिटी का जूता या स्पोर्ट शू अवश्य रखें।
कैसे पहुँचें मनकामेश्वर मंदिर ( How To Reach Mankameshwar Temple)
कितने दिन के लिए आए (Suggested Duration)
मनकामेश्वर मंदिर बहुत ही सुन्दर पवित्र स्थल है। इसके अलावा भी रानीखेत शहर के आस -पास कई धूमने लायक सुंदर जगहें है । जैसे डोल आश्रम , कटारमल सूर्य मंदिर , कसारदेवी मंदिर , सिमटोला इको पार्क , जागेश्वर धाम , नंदा देवी मंदिर , चितई गोलू देवता मंदिर आदि जहाँ आप जा सकते हैं। इसीलिए यहाँ आप अपने हिसाब से अपना समय बिता सकते हैं। अगर आप अल्मोड़ा / रानीखेत में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book कर लीजिए।
क्यों आयें मनकामेश्वर मंदिर ?
मौसम (Weather)
चारों तरफ हरे -भरे पहाड़ व पेड़ -पौधे होने के कारण मनकामेश्वर मंदिर का मौसम गर्मियों में भी सुहाना रहता है। आप यहां मार्च से लेकर जून तक और सितंबर से लेकर दिसंबर तक कभी भी आ सकते हैं। अगर आप अल्मोड़ा / रानीखेत में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book कर लीजिए। फोटोग्राफी के लिए एक अच्छा सा कैमरा अपने साथ अवश्य रखें । ट्रैकिंग के शौक़ीन अपने साथ एक अच्छी क्वालिटी का जूता या स्पोर्ट शू अवश्य रखें।