Gangotri National Park Uttarkashi Uttarakhand
विराट हिमालय , गौमुख , गंगोत्री ग्लेशियर व विशाल मखमली घास के मैदान देखने हों तो फिर यहाँ चले आइये।
Gangotri National Park Uttarkashi Uttarakhand : उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले के गढ़वाल हिमालय में स्थित है एक प्राकृतिक रूप से बेहद समृद्ध और देश का तीसरा सबसे बड़ा पार्क , गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान। 2,390 वर्ग किलोमीटर में फैले इस वन्यजीव अभयारण्य की स्थापना सन 1989 में हुई थी। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान एक विशाल व गढ़वाल हिमालय में अत्यधिक ऊँचाई पर स्थित उद्यान है जिसकी पूर्वोत्तर सीमा चीन से लगी है। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान का मुख्य आकर्षण भव्य हिमालय , गौमुख , गंगोत्री ग्लेशियर , भागीरथी नदी , शंकुधारी वन , ऊंची – ऊँची पर्वत श्रृंखलाएं , गहरी नदी घाटियां , खड़ी व उबड़ -खाबड़ चटटानें , गरतांग गली व विशाल मखमली घास के मैदान है जो पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करते है। हिन्दुओं का पवित्र तीर्थ स्थल गौमुख (भागीरथी /गंगा नदी का उद्गम स्थान) और हिमालय के सबसे बड़े ग्लेशियरों में से एक गंगोत्री ग्लेशियर इसी गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान के अंतर्गत आते है। समुद्रतल से लगभग 1,800 मीटर से लेकर 7,083 मीटर ऊँचाई तक फैले गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान का नाम गंगोत्री ग्लेशियर के नाम पर ही रखा गया है। इसी वन्यजीव अभयारण्य से गंगोत्री धाम का मार्ग भी होकर गुजरता है। पर्यटकों के लिए यह 1 अप्रैल से 30 नवंबर तक खुला रहता है मगर दिसंबर से मार्च तक यह बंद कर दिया जाता है।
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गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान ट्रैकर्स की पसंदीदा जगह है ।
गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान की उत्तरपूर्व सीमा चीन से लगी है जबकि पश्चिमी भाग गोविन्द नेशनल पार्क तथा दक्षिणी भाग केदारनाथ वन्यजीव अभयारण्य से सटा है। समृद्ध जैव विविधता को समेटे यह पार्क धार्मिक व आध्यात्मिक रूप से भी बहुत महत्वपूर्ण है। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान बाघ , कस्तूरी मृग , तहर , नीली भेड़ , अरगली भेड़ , लोमड़ी , काले व भूरे भालू , हिम तेंदुए , हिमालयी मोनाल , स्नोकाँक , कोक्लास , तीतर , बटेर , बुलबुल जैसे अनेक हिमालयन पक्षियों व वन्यजीवों का सहज प्राकृतिक आवास है। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान ट्रैकर्स की पसंदीदा जगह है क्योंकि यहाँ ट्रैकर्स गंगोत्री धाम से गौमुख तक की ट्रैकिंग करते हैं और कुछ साहसी ट्रैकर्स गंगोत्री धाम से गौमुख और फिर गौमुख से तपोवन तक की रोमांचकारी व साहसिक ट्रैकिंग भी करते हैं। साथ ही साथ कालिंदीखाल , नेलांग घाटी व केदारताल में भी ट्रैकिंग के मौके मिलते हैं। कुछ लोग यहाँ कैंपिंग , स्नो स्कीइंग का मजा भी लेते है। हिमालयी क्षेत्र होने के कारण जाड़ों में यह पार्क पूरी तरह बर्फ से ढक जाता है। चौखम्बा (1,2,3) , सतोपंथ व केदारनाथ पर्वत श्रृंखलायें इसी पार्क के अंतर्गत आती हैं।
क्या करें ?
गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान में जैव -विविधता व मजबूत पारस्थितिकी तंत्र को देखिये। गंगोत्री ग्लेशियर के अंतिम छोर गौमुख में जीवनदायिनी माँ भागीरथी का उद्गम स्थान देखिये। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान से गंगोत्री पर्वत समूह की शिवलिंग , थलै सागर , मेरु , भागीरथी तृतीय और चौखम्बा पर्वत श्रृंखलाएं को देखिये। गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान में प्राकृतिक सौंदर्य का मजा लीजिए। गंगोत्री धाम से गौमुख और फिर गौमुख से तपोवन (एक घास का मैदान) तक की रोमांचकारी व साहसिक ट्रैकिंग कीजिए। पर्वतारोहण , ट्रैकिंग , कैंपिंग , राफ़्टिंग का मजा लीजिए। खूब फोटोग्राफी कीजिए । इसके अलावा भी गंगोत्री धाम व उत्तरकाशी शहर के आस -पास कई धूमने लायक सुंदर जगहें है जैसे विश्वनाथ मंदिर , यमुनोत्री धाम , शनि मंदिर , गंगोत्री मंदिर , धराली , मुखवा , गंगनानी , सातताल (सत्तल) , बागोरी , हर्षिल , गरतांग गली , डोडीताल , नचिकेताताल , कुटेटी देवी मन्दिर , नेलांग घाटी आदि जहाँ आप जा सकते हैं। आप दयारा बुग्याल , केदारकांठा , डोडीताल तक ट्रैकिंग भी कर सकते हैं।
गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान आने का सही समय (Best Time To Visit In Gangotri National Park)
गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान वाला पूरा क्षेत्र गढ़वाल हिमालय के अंतर्गत आता है। जाड़ों में यह पूरा क्षेत्र बर्फ से ढक जाता है । इसीलिए गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान की यात्रा के लिए सबसे अच्छा समय अप्रैल से नवंबर के बीच में है। एक दिसम्बर से 31 मार्च तक यह बंद रहता है। अगर आप गंगोत्री धाम में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book कर लीजिए।
ध्यान में रखने योग्य बातें
मजबूत परस्थितिकी तंत्र व समृद्ध जैव विविधता को समेटे यह पूरा क्षेत्र ओक , देवदार और रोडोडेंड्रॉन के जंगलों से घिरा है। अगर आप यहां पर्वतारोहण , ट्रैकिंग , कैंपिंग करना चाहते हैं तो पहले इसके बारे में जानकारी अवश्य लें । गौमुख या तपोवन या कही भी ट्रैकिंग करते वक्त अच्छी क्वालिटी का जूता अवश्य पहनें। खाने -पीने का कुछ सामान , कुछ आवश्यक दवाइयाँ , गर्म कपड़े व पहचान पत्र अपने साथ अवश्य रखें। अगर आप गंगोत्री मंदिर में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book अवश्य कर लीजिए।
कैसे पहुँचें गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान ( How To Reach Gangotri National Park)
कितने दिन के लिए आए (Suggested Duration)
गंगोत्री राष्ट्रीय उद्यान अपने आप में बहुत ही सुन्दर , सुरम्य , शांत व आध्यात्मिक हिमालयी क्षेत्र है जो वाकई में देखने लायक जगह हैं । इसके अलावा भी इसके आस -पास कई धूमने लायक सुंदर जगहें है जैसे विश्वनाथ मंदिर , गंगोत्रीधाम , डोडीताल , गोमुख , यमुनोत्री , गरंताग गली , केदरकांठा , नेलांग घाटी आदि जहाँ आप जा सकते हैं। इसीलिए यहाँ आप अपने हिसाब से अपना समय बिता सकते हैं। अगर आप गंगोत्री मंदिर में एक – दो दिन रुकना चाहते हैं तो आने से पहले कोई Hotel Book कर लीजिए।
